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मुहावरा | अर्थ |
कौड़ी को न पूछना | बहुत तुच्छ समझना (Bahut Tuchchh Samajhana ) |
वाक्य में प्रयोग- | यह बिल्कुल सच हैं- गरीब आदमी को कोई कौड़ी को भी नहीं पूछता। |
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कालिख पोतना ( Kaalikh Potana ) |
खा - पका जाना( Kha- Paka Jaana) |
खटाई में डालना ( Khataee Mein Daalana ) |
खाक में मिलना ( Khaak Mein Milana ) |
कोसों दूर भागना ( Koson Door Bhaagana ) |
कहानी समाप्त होना ( Kahaanee Samaapt Hona ) |
खून पीना ( Khoon Peena ) |
किस खेत की मूली ( Kis Khet Kee Moolee) |
काठ में पाँव देना ( Kaath Mein Paanv Dena ) |
कान खोलना ( Kaan Kholana ) |
कढ़ी का- सा उबाल आना ( Kadhee Ka- Sa Ubaal Aana ) |
कुम्भकर्णी नींद( Kumbhakarnee Neend) |
कमर कसना ( Kamar Kasana ) |
कान पकड़ना( Kaan Pakadana) |
कौड़ियों के मोल बिकना ( Kaudiyon Ke Mol Bikana ) |
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